ज़माने बीत गए जब हम अपने गांव से निकले लेकिन आज तक गांव हम से नहीं निकल पाया IRS समीर वानखेड़े..

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मुंबई : समीर वानखेड़े, क्रांति रेडकर और उनके परिजन दो दिन से रिसोड गाव में दाखिल हैं, पिछले कुछ दिनों से उनके पैतृक गांव व जिले के विभिन्न सामाजिक आयोजनों में उनकी बढ़ती उपस्थिति चर्चा का विषय बनी हुई है.

मिस्टर एंड मिसेज वानखेड़े

हालांकि समीर वानखेड़े का कहना है कि वे खुद को सामाजिक कार्यों के लिए समर्पित करेंगे और विभिन्न खेलों और प्रतियोगी परीक्षाओं के माध्यम से छात्रों के भविष्य को संवारेंगे, वे वर्तमान में राजनीति से दूर हैं, लेकिन रिसोड गाव के जिले में उनके बढ़ते दौरे के कारण तरह-तरह की चर्चाएं होने लगी हैं. राजनीतिक घेरे में।

समीर वानखेड़े का पैतृक गाव रिसोड में इस बार वह अपने परिवार के साथ विभिन्न कार्यक्रमों में शिरकत कर रहे हैं. 15 दिसंबर को, उन्होंने रिसोद तालुका के सावद में एक कबड्डी टूर्नामेंट में भाग लिया, फिर 16 दिसंबर को उन्होंने समुदाय के साथ वाशिम शहर के नालंदानगर में विहार में भाग लिया और कई लोगों से चर्चा भी की, अनेक सामाजिक आयोजनों में हिस्सा ळे रहे है

मिस्टर एंड मिसेज वानखेड़े की सामाजिक आयोजनों में बढ़ती उपस्थिति राजनीतिक गलियारों में बहस छेड़ दी है।

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